दोबारा कायम होगी सल्तनतें उस्मानिया ? Ottoman Empire restored again ? #kurullusOsman, #ErtugrulGhaz

दोबारा कायम होगी सल्तनतें उस्मानिया ? Ottoman Empire restored again ? #kurullusOsman, #ErtugrulGhaz

SD24 News Network –

दोबारा कायम होगी सल्तनतें उस्मानिया ? Ottoman Empire restored again ? #kurullusOsman, #ErtugrulGhazi

तुर्की पर 1923 में लगे पाबंदी को 2023 में पूरे 100 साल बीत चुके है। और तुर्की एक बार फिर से आज़ाद हो चुका है।
तुर्की को यौमे आजादी मुबारक
खिलाफत ए उस्मानिया को खत्म हुए 100 साल हो गए, इस्लाम के चौदह सौ सालों के इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ है। की पिछले सौ सालों में यह उम्मत एक बार अदद काएद को तरस गई, अभी भी दूर दूर तक कयादत के कोई आसार भी नजर नहीं आते।
जिस तुर्की पर यूरोपियन देश ने 100 साल की पाबंदी लगाई। वो 2023 में खत्म हो चुकी है।।
रजब तैयब एरदुगन ने कहा एक बार फिर दुनिया में सबसे बड़ी सल्तनत, सल्तनत ए उस्मानिया  कायम होने जा रही है, एक बार फिर दुनिया में इंसाफ का दौर आने वाला है!
ऐसा माना जाता है कि, सिर्फ और सिर्फ इसीलिए तमाम मुस्लिम यूथ की धड़कन है, रजब तय्यब अर्दोगान।
काश ये बात भारत के फिरका परस्तो को समझ आती। जो सिर्फ और सिर्फ अपने गुरुर और आन के चक्कर में कौम को बाट रहे है।
सल्तनत ए उस्मानिया ईसाई इलाको में इंसाफ के झंडे गाड़ने वाली सल्तनत, जिसने सलिबियों को वो जख्म दिए की आज तक उससे वो उभर ना पाए, रोम की 1 हजार साला हुकूमत को उखाड़ फेंकने ओर कुस्तुन्तुनिया को फतह करके , इस्लाम की वो दास्तान लिखदी कि आज भी दुश्मन पढ़ कर थर्रा जाता हे। 
जब एरतुगुल गाज़ी और कुरुलकुस उस्मान ड्रामा बनाया गया तो इनकी बुनियादें हिल गयी, असल इतिहास पढ़कर क्या हाल होता होगा।
सल्तनतें उस्मानिया ने तक़रीबन 600 साल तक हुकूमत की । 
1922 में सल्तनत उस्मानिया को खत्म करके उसपर पाबंदी लगा के पूरे खानदान को अरब छोड़ने पे मजबूर किया, 100 साल के मुहाइदे में तरह तरह की पाबंदी लगा दी ताके तुर्की फिर एक और सल्तनत कायम न कर सके।
इस मुहाइदे कि उम्र मुकम्मल हो चुकी है। 2023 में तुर्की फिर से पाबंदियों से आज़ाद हो गया। 
सल्तनत ए उस्मानिया को हटाना, एक बोहोत बड़ी सलीबी, ईसाई साजिश थी । बर्तानवी जासूस हम्फर ने इसमें अहम किरदार अदा किया था।
1258 ई में अब्बासियों का तातारियों मंगोलों के हाथों कत्ले आम के साथ खत्मा हुवा ओर आखिरी अब्बासी शहंशाह मुस्त असीम बिल्लाह को जानवर की खाल में लपेट कर घोडे दौड़ा कर कुचल दिया गया ।।
बाद में यही तातारी कौम मुसलमान हो गई और तुर्क नस्ल के नाम से मशहूर हुई…  
अगर आप इसमें मजीद जानकारी चाहते हो तो कमेंट कर के जरूर बताएं । 
2023 तुर्की की आज़ादी और सल्तनतें उस्मानिया को लेकर नौजवानों में काफी दिलचस्पी दिखाई दे रही है। यूथ आइकॉन रजब तैयब एरदुगन ने भी 2020 से कई इशारे देने शुरू किए थे, एक इशारे ने सारी दुनिया को हिला डाला था। ड्रामा रतुगरुल ग़ाज़ी।
अब जैसे ही 2023 शुरू हुआ मुस्लिम यूथ रजब तैयब एरदुगन के बयानों का बेसब्री से इंतेजार करने लगे है। एरदुगन कि बात से पहले शार्ट में जानेंगे कौन है तुर्क कौम जिसने 600 साल तक दुनिया पर हुक़ूमत की।
तुर्काने तैमूर, तैमूर की नस्ल में बाबर पैदा हुआ और भारत में मुगल साम्राज्य की बुनियाद डाली।
तुर्काने सफवी की हुकूमत ईरान में क़ायम हुई
तुर्काने सलजूकी,  सलजुक खानदान की बहुत मजबूत हुकूमत तुर्की के इलाके में कायम हुई, इस्ताम्बुल यानी कुस्तुनतुनिया को छोड़कर.. आसपास के इलाकों में सल्जूकी हुकूमत थी।
वक्त के साथ साथ सलजूकी हुकूमत जब कमजोर होने लगी तो कई छोटी छोटी रियासतों में बंट गई। आसपास मौजूद छोटे छोटे सुल्तान, सलजूकी सुल्तान पर हमले करने लगे…. और सन् 1300 ई0 तक सेल्जुकों का खात्मा हो गया था…!!
इन्ही रियासतों में मगरिबी अनातोलिया की छोटी सी रियासत में, अल तुगरल, यानी अरतुगरुल गाज़ी एक काबिले के सरदार थे जिसका नाम काई कबीला था। जो आप सब जानते ही है।
अरतुगरुल जब एशिया माइनर की तरफ़ कूच कर रहे थे तो रास्ते में एक जगह पर दो छोटी फौजों को जंग करते हुए देखा… 
जिसमें से एक तरफ की फौज शिकस्त के करीब थी, उन्होंने अपनी चार सौ घुड़सवारों की सेना को किस्मत की कसौटी पर आजमाया.. 
उन्होंने हारते हुए फौज का साथ दिया और जंग जीत ली… उन्होने जिनका साथ दिया वे सल्जूक थे…!!
गाजी अल तुगरल (Eurtgul) ही वो पहले सख्स थे जिन्होंने सल्तनत ए उस्मानिया की नींव रखी और आप ही के बेटे गाज़ी उस्मान के नाम से सल्तनत का नाम उस्मानिया रखा गया
1923 में सल्तनतें उस्मानिया का साजिशन खात्मा किया और तुर्की पर 100 साल की पाबंदी लगाई गई। 

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